प्रेम आता है Author Gurmeet Singh Created August 30, 2014November 14, 2016 Updated November 14, 2016August 30, 2014 Comments 0 Reading time Less 1 min Views 32 Categories: अन्य, मुक्तक पंछी पानी पीता है और उड़ जाता हैमोर वर्षा में और भी सुरीला गाता हैतुम करो जितनी मर्ज़ी नफ़रत मुझसेइस गुनी को बस प्रेम करना आता है #गुनी …!
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