मैं ख्वाब देखता हूँ किसी मेरे अपने कापापा की पीठ पर झूलने कामां की गोद में खेलने कामैं ख्वाब देखता हूँ किसी मेरे अपने काउन नन्हे पैरो पर चलने काउन...
Month: October 2013
मेरे अपनो से ना कहना
मेरे अपनो से ना कहनामैं उसे अपना बना ना सका मैं उसे कभी पा ना सकामौहब्बत तो बहुत की है उसनेमैं बुजदिल, उसे एक पल को हंसा ना सकामेरे अपनो से ना...
गुरू तुम्हारा
हस्ती मिटती नहीं लुटाने से जिसकोचीज वो विद्या है पा लो इसकोपाकर इसे तुम बाबू बननाबात भी मत किसी की सुननागर पा इसको तुम जाओगेभविश्य औरो का भी...
लिखता हूं मैं उन सबके लिए
लिखता हूं मैं उन सबके लिए जिन्होने इतने उपकार किएबहती नदी से, ठहरे सागर सम्राट बना दिएवो गुरू हमारे, ज्ञान देवी से मिला दिएबुझे चिराग तले, सूरज सा...
ये लडकियां मेरे कालेज की
ये लडकियां मेरे कालेज कीकुछ इतराती हैं कुछ इठलाती हैंकुछ खुशी में कुछ गम में भी काम आती हैंजब भी मिलता हूँ मैं इनसे ना जाने क्यों,एक मधुर गीत हमेशा...
इंजीनियरिंग पढना नहीं आता
क्या लिखूं लिखा नहीं जाताकरूं क्या शायद इंजीनियरिंग पढना नहीं आता सब्जेक्ट बहुत हैं इंजीनियरिंग केमगर ये लाचार दिलकोइ पसंद ही नहीं आताकभी सी.एस. का...
चींख रहा मेरा हिंदुस्तान
चींख रहा मेरा हिंदुस्तान, इस यमन की शांति के लिएबज उठा बिगुल है, मिठाने जातिवाद की भ्रांति के लिएदेखो उन वीरो ने भी अपने प्राण यूँ ही गवा दिएउन माँ...